स्वास्थ्य बीमा योजना सरकार की एक महत्वकांक्षी योजना है। इस योजना के तहत उपचारों में होने वाले खर्चों को बीमा कम्पनी वहन करती है। राज्य सरकार अपने कर्मचारियों एवं सेवा निवृत कर्मियों को बेहतर चिकित्सा उपलब्ध कराने हेतु स्वास्थ्य बीमा योजना शीघ्र प्रारम्भ करने वाली है।इसके तहत बीमा कम्पनियों को सलाना 6000 रुपये दिए जायेंगे। बर्तमान में सरकारी कर्मियों को 1000 रुपये चिकित्सा भत्ता प्रदान की जाती है। ये सेवा प्रारम्भ होने के बाद चिकित्सा भत्ता 500 रुपये दिए जायेंगे।
सुविधा का लाभ कौन कौन प्राप्त कर सकते है ?
राज्य सरकार के सभी नियमित और सेवानिवृत कर्मचारी सलाना 6000 की प्रीमियम पर ये लाभ पा सकते है। यह सुविधा निम्नलिखित को प्रदान की जाएगी:-
- राज्य के सेवारत कर्मी व सेवानिवृत कर्मी।
- उनके परिवार के उन पर आश्रित सदस्य।
- पति या पत्नी , पुत्र / वैध दत्तक पुत्र ( 25 वर्ष की आयु तक बशर्त्ते वो बेरोजगार हो)।
- पुत्री (अविवाहित / विधवा / परित्यक्ता पुत्री ) ।
- नाबालिग भाई एवं अविवाहित बहन ।
- आश्रित माता-पिता ( प्रतिमाह 9000 रुपये और उस पर तत्समय अनुमान्य महँगाई राहत से कम पेंशन प्राप्त करने वाले) सम्मिलित होंगे।
- राज्य कर्मियों / सेवानिवृत्त कर्मियों के दिव्यांग आश्रितों को आजीवन स्वास्थ्य बीमा का लाभ प्रदान किया जाएगा।
- पति पत्नी दोनों सरकारी सेवक है तो किसी एक का बीमा होगा।
बीमा कम्पनी कितनी राशि की सहायता करेगी?
राज्य के सभी सेवा कर्मियों को बीमारियों की चिकित्सा पर 05 लाख रुपये बीमा कम्पनी देगी। उपचारों में इससे अधिक व्यय होने की स्थिति में अतिरिक्त 05 लाख रुपये स्वास्थ्य, चिकित्सा शिक्षा एवं परिवार कल्याण विभाग की सहमति से संबंधित बीमा कंपनी के द्वारा व्यय का भी वहन किया जाएगा। इस प्रकार 10 लाख रुपये तक की चिकित्सा सुविधाएँ दी जाएगी।
बीमा की खासियत क्या है ?
राज्य कर्मियों और सेवानिवृत कर्मियों के गंभीर रूप से बीमार एवं दुर्घटनाग्रस्त अथवा मरनासन्न स्थिति उत्पन्न होने पर तत्काल बड़े अस्पताल में चिकित्सा हेतु रेफर किये जाने की जरुरत होती है। ऐसी स्थिति में स्वास्थ्य, चिकित्सा शिक्षा एवं परिवार कल्याण विभाग से स्वीकृति प्राप्त करने के उपरांत विशेष परिस्थिति में एयर एंबुलेंस या हवाई यात्रा की अनुमति दी जाएगी। इस पर होनेवाले समुचित खर्च का व्यय सम्बंधित बीमा कम्पनी करेगी।
राज्य कर्मियों में दुविधा क्या है ?
चिकित्सा बीमा की घोषणाओं के साथ ही सभी राज कर्मियों में हर्ष थी की अब अलग से हेल्थ इंश्योरेंस लेने की आवश्यकता नहीं होगी। कम प्रीमियम में अच्छी चिकित्सा सेवा प्राप्त होगी। यह सोचकर बहुत सारे कर्मी हेल्थ बीमा नहीं करवाए और जो करवा चुके थे वो रिनुअल नहीं कराए। अब जब कई माह बीत गए तो सभी दुविधा में पड़ गए की क्या करनी चाहिए ? यह दुविधा सबसे ज्यादा सेवानिवृत कर्मियों में है। उन्हें हेल्थ इंश्योरेंस की जरुरत सबसे अधिक होती है।
सारांश
फिलहाल झारखण्ड स्वास्थ्य बीमा योजना 2024 (Jharkhand Health Insurance Scheme 2024) के लिए बीमा कम्पनी का चुनाव अभी तक अंतिम रूप से नहीं किया गया है। राज्य सरकार द्वारा एजेंसी चुनाव प्रक्रियाधीन है। बीमा कम्पनी का चुनाव लगभग तय है। न्यू बीमा इंश्यूरेंस या ओरियंटल इंश्यूरेंस में से किसी एक का चयन किया जाना है। सरकार की ओर से एक माह में इससे लागू करने का आश्वासन दिया गया है। अलग से अन्य हेल्थ इंश्योरेंस लेने से अच्छा है यदि आपका अति आवश्यक नहीं हो तो एक दो माह रुक सकते है।
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